दल्ली राजहरा रविवार 27 जुलाई 2025 भोज राम साहू 98937 65541
“हमारा दल्ली राजहरा -एक निष्पक्ष समाचार” चैनल की “संडे मेगा स्टोरी “के 22 में सीरीज में आज रविवार 27 जुलाई 2025 को पढ़िए ! दल्ली राजहरा के एक ऐसे मंदिर की कहानी जिसे धर्म और देशभक्ति दोनों को समर्पित कर बनाया गया है l आपको बता रहे हैं लोडिंग सायडिंग वार्ड नंबर 13 की मंदिर की कहानी l जिसमें प्रमुख रूप से पवन पुत्र हनुमान के साथ मां दुर्गा और देवाधिदेव महादेव की पूजा की जाती है l मंदिर के सामने दो घोड़ा है जिसमें महाराणा प्रताप और महारानी लक्ष्मीबाई बैठे हैं l इसलिए इस मंदिर का नाम लोगों ने घोड़ा मंदिर रख दिया l
मंदिर का निर्माण के 1969 के समय हुआ है मंदिर निर्माण के संबंध बताते हैं कि जब दल्ली राजहरा में लौह अयस्क का उत्खनन प्रारंभ हुआ था l उस समय लगभग 8000 मजदूर लौह अयस्क का कच्चा माल मालगाड़ी के डिब्बा में लोडिंग कार्य किया करते थे l उस समय कई ऐसे अलौकिक घटनाएं होती थी l जिस कारण लोगों के बीच डर का माहौल बन गया था l जैसे रेलवे बैगन में लौह अयस्क भरने के लिए लगाई गई चैली अपने आप गिर जाती थी l मालगाड़ी अपने आप चल जाते थे l जिसमें कई मजदूर है दुर्घटनाग्रस्त हो जाते थे l इन घटनाओं को देखते हुए लोडिंग मजदूरों ने तय किया कि यहां पर संकटमोचन भगवान बजरंगबली की मूर्ति स्थापित कर मंदिर का निर्माण किया जाए l मजदूरों ने छोटी-छोटी रकम एकत्र कर मंदिर का निर्माण का काम प्रारंभ किया l मंदिर बनाने के लिए अतिरिक्त पैसे की जरूरत पड़ती थी l जिसके लिए इन्होंने छुट्टी के दिन भी काम करके जो पैसा मलिक के द्वारा मिलता था उसे मंदिर निर्माण में दान स्वरूप देते थे l इस तरह सन 1972 में मंदिर बनकर तैयार हुआ l
और मूर्तियों की स्थापना की गई तथा इसी समय से यहां पूजा पाठ तो प्रारंभ हुआ l आयोजन समिति के द्वारा 26 जनवरी 19 72 -73 से छत्तीसगढ़ के पारंपरिक मंडई का भी शुरुआत इसी घोड़ा मंदिर के नाम से चालू हुआ l जो आसपास बालोद जिले राजनांदगांव जिले बस्तर मानपुर मोहला के लोग यहां प्रमुख रूप से 26 जनवरी की मेला को देखने के लिए आज भी आते हैं l 26 और 27 जनवरी 2 दिन को विशाल मेला के साथ सांस्कृतिक कार्यक्रम कभी आयोजन मंदिर समिति के द्वारा किया जाता है lमंदिर परिसर में प्रत्येक राष्ट्रीय पर्व 15 अगस्त और 26 जनवरी को ध्वजारोहण किया जाता है l साथ ही दोनों नवरात्रि चैत्र नवरात्रि एवं क्वार नवरात्रि को ज्योति कलश का स्थापना की जाती है l विगत दो वर्षों से अखंड रामायण का कार्यक्रम प्रारंभ किया गया है l
इस मंदिर लोग अपनी मनोकामनाएं पूर्ति के लिए आते हैं कहते हैं कि सच्चे मन से बजरंगबली से मांगी गई मन्नते यहां अवश्य पूरा होता है l मंदिर के सामने देशभक्ति राष्ट्र के प्रतिक घोड़े पर महाराणा प्रताप एवं महारानी लक्ष्मीबाई की मूर्ति स्थापित है l मंदिर के ऊपर भारत मां की मूर्ति है मंदिर के दाएं और बाएं मां दुर्गा तथा भगवान शिव की मूर्ति की स्थापना की गई है l मंदिर के ऊपर मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्री राम और मां जानकी भाई लक्ष्मण के साथ स्थापित है l
आज मंदिर की जर्जर स्थिति को देखते हुए इन मूर्तियों को बजरंगबली की मूर्ति के साथ गर्भ गृह में रखा गया है l राम जानकी मंदिर के नीचे स्थल पर एक बावली के आकार में कुआं का निर्माण है कुएं के निचले हिस्से में दरवाजा है l वहां के पानी का उपयोग करने वाले लोग बताते हैं कि इस कुएं का जल कभी सूखता नहीं है तथा साफ और पीने में मीठा है l मंदिर के पूर्व पुजारी सोनसाय बाबा ने 1970 से लेकर 2024 तक इस मंदिर में भगवान की सेवा किया l समय के साथ कई परिवर्तन ही हुए ठेका श्रमिक के रूप में कार्यरत कई मजदूर रिटायरमेंट होकर चले गए , कई लोगों का यहां से ट्रांसफर हो गया l
साथ ही दल्ली राजहरा की जनसंख्या जिसमें लगभग 70% से ज्यादा कम हो चुकी है l जिसके कारण मंदिर में आस्था रखने वाले लोग भी यहां से चले गए l आज यह प्राचीन मंदिर दयनीय स्थिति में आ गई है l पुराने होने के साथ-साथ इसमें फिर से निर्माण की आवश्यकता है l मंदिर की स्थिति को देखते हुए सन 2023 में मंदिर समिति का गठन किया गया l मंदिर में कई जनप्रतिनिधि आए जिसमें नगर पालिका अध्यक्ष से विधायक के साथ-साथ संसद को भी मंदिर की निर्माण के लिए सहयोग मांगा गया l सभी ने आश्वासन ही दिए लेकिन आज तक कोई सफलता नहीं मिल पाई l
मंदिर समिति का कहना है हमारा उद्देश्य सिर्फ यही है कि इस धरोहर को संजोकर रखें तथा इस मंदिर को भव्य रूप देकर पर्यटक के रूप में विकसित करें l
उन्होंने सभी लोगों से भी अपील किया है कि इस मंदिर के निर्माण के लिए श्रद्धा पूर्वक बढ़ चढ़कर सहयोग करें l
मंदिर समिति के सदस्य हैं अध्यक्ष श्री विजय सिन्हा सचिव रूपलाल साहू कोषाध्यक्ष रामदास मणिकपुरी उप कोषाध्यक्ष चेतन लाल साहू , उपाध्यक्ष रामसिंग साहू,आर. एस. देवांगन एवं गिरधर सिन्हा राजेंद् साहू,केशव भार्गव विजय भान सिंह श्याम दास साहू पुरुषोत्तम साहू किरण सिन्हा वार्ड पार्षद अनिता सोनवानी, संजय सोनवानी ईश्वर निर्मलकर सुखंतीन ठाकुर केरेखा साहू सिलोचना सिन्हा सुनील साहू रामावतार,अजय, नवीन, सुरजभान, वालसिंग, नेमसिंह,देवकरण, लालू, भुवन साहू एवं वार्ड वासी l